बारात देख़ दंग रहगये लोग, परंपराओं को जीवित रखा जाएगा ,
( एसपीटी न्यूज नर्मदापुरम संतराम निशरेले प्रधान संपादक)
*आज के मॉर्डन जमाने में पारंपरिक पुरानी रीति रिवाज से किया शादी :- मर्सकोले*
उन्होंने आदिवासी समाज की परंपरा और शादी सादगी से करने का फैसला लिया और बारात बैलगाड़ी से निकाली। इसके लिए बैलगाड़ी को आकर्षक रूप दिया।
बैतूल : आम तौर पर शादी समारोह में लोग अपनी हैसियत और ताकत का प्रदर्शन करने से नहीं चूकते, मगर मध्य प्रदेश के बैतूल जिले में आदिवासी सुधीर मर्सकोले ने अपने विवाह समारोह में सादगी की मिसाल पेश की। उसने अपनी बारात बैलगाड़ी पर निकाली। लगभग दो किलो मीटर का सफर बैलगाड़ी पर ही तय किया। बैतूल के घोड़ाडोंगरी विकास खंड का आदिवासी बाहुल्य गांव डूल्हारा है। यहां के सुधीर मर्सकोले की शादी थी, उन्होंने आदिवासी समाज की परंपरा और शादी सादगी से करने का फैसला लिया और बारात बैलगाड़ी से निकाली। इसके लिए बैलगाड़ी को आकर्षक रूप दिया।
इस बैलगाड़ी की चमक के आगे लग्जरी कार और बग्घियां भी फीकी दिखाई दीं। इस मौके पर सुधीर मर्सकोले का कहना था कि अपने सामाजिक, सांस्कृतिक मूल्यों को सहेजने और लोगों को महंगाई के दौर में सादा जीवन-उच्च विचार सिखाने का इससे अच्छा मौका नहीं हो सकता था।
आपकी क्या प्रतिक्रिया है?